आख़िर रावण जीत गया
ज़ुल्म सहना भी ज़ुल्म करने जितना ही बड़ गुनाह है वर्तमान परिस्थितियों को पेश करती एक रचना।
।। युगों के मिश्रण के साथ समय का परिवर्तन।।
।। रावण जीत गया ।।
हमारे शहर में अब की रावण नहीं जलेगा,
मुखिया ने कहा है वो गुनहगार नहीं है।
पांच हजार की आबादी में एक शख्स नहीं बोला,
सच है ये कड़वा कोई चमत्कार नहीं है।
क्या फ़र्क पड़ता है, अच्छा हुआ, पैसें बचे,
जिंदा लाशों से बदलाव के कोई आसार नहीं हैं।
बेटे ने पूछा बाप से अबकी राम घर नहीं आयेंगे?
क्या अयोध्या पर उनका अधिकार नहीं है?
क्या चित्रकूट में भरत इंतजार में खड़े रहेंगे ?
निषाद के फूल गंगा पार राह में पड़े रहेंगे ?
क्या हनुमान सीना चीर के भगवान नहीं दिखाएंगे ?
और क्या हम सब भी दीवाली नहीं मनायेंगे ?
प्रश्नों की इन लहरों ने भीतर तक हिला दिया,
अनजाने ही सही उसने मुझको खुद से मिला दिया।
सच कहूं या झूठ बोलूं क्या समय की शर्त है,
या कहूं कि बरसों पहले हुई अग्निपरीक्षा व्यर्थ है।
आज दशरथ मौन है कैकेई की कुटिलाई पर,
राम मर्यादा को भूले उतरे जग हंसाई पर।
अब भरत करता नहीं क्षण भी प्रतिक्षा भाई की,
अब लखन भी मांग करते सेवा की भरपाई की।
हां विभिषण आज भी लंका जलाते दिख रहे हैं,
आज सारे मित्र बंधु कौड़ियों में बिक रहे हैं।
खैर मैंने त्रस्त होकर काठ का रावण रचा है,
क्या कहूं कि देखो बेटा पाप बस इतना बचा है।
मैं मेरी पीढ़ी के आगे मौन हूं हारा हुआ हूं,
रावण अमर है मैं मनुज निज कृत्य से मारा हुआ हूं।
✍️ दशरथ रांकावत "शक्ति"
Free Slots at BSBJ - BCSJON.NET
ReplyDeleteFree Slots 코인 일정 사이트 at BSBJ. BetOnline Casino 세븐 럭 카지노 offers more than 150+ av보는곳 Free 33카지노 Casino games. Register today 카지노 쿠폰 and play with us today!